झारखंड प्राइवेट स्कूल संगठन का सातवां वार्षिक सम्मेलन संपन्न, 1500 स्कूल के प्राचार्य ने किया शिरकत

निजी विद्यालय सीमित- साधन संसाधन में समाज में गुणवत्त शिक्षा का अलख जगा रहे: सदर विधायक मनीष जायसवाल

हजारीबाग। झारखंड प्राइवेट स्कूल संगठन का बुधवार को सातवां वार्षिक सम्मेलन हजारीबाग कार्मल चौक अवस्थित द पैराडाइज रिसोर्ट में संपन्न हुआ। इस महासम्मेलन की अध्यक्षता संगठन के अध्यक्ष विनोद भगत ने किया व संचालन सचिव प्रभु दयाल कुशवाहा ने किया। सम्मेलन में अतिथि के रूप में हजारीबाग सदर विधायक मनीष जायसवाल, बरही विधायक उमाशंकर अकेला, बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद शामिल हुए। समारोह में शामिल अतिथियों को कोर कमेटी सदस्यों ने मोमेंटो व शॉल दे कर और पुष्पगुच्छ देकर सम्मानित किया।

सदर विधायक मनीष जायसवाल ने दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत किया।सम्मेलन को संबोधित करते हुए सदर विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि निजी विद्यालय सीमित- साधन संसाधन में समाज में गुणवत्त शिक्षा का अलख जगा रहे हैं। ऐसे में इनकी कई समस्याएं भी हैं। आपकी समस्याएं और दर्द से रूबरू हुआ हूं। निश्चित रूप से आपकी समस्याएं जायज़ है और हर कदम पर हम आपके साथ हैं। हमारी कोशिश होगी कि आने वाले सदन पटल पर आपके मांगों को उठाकर सरकार और संबंधित विभाग को अवगत कराने का हरसंभव प्रयास करूंगा।

सम्मेलन में अध्यक्ष विनोद भगत, सचिन प्रभु दयाल कुशवाहा ,कोर कमेटी के सभी सदस्य और पदाधिकारी प्रखंड अध्यक्ष प्रखंड सचिव और तमाम स्कूलों के प्राचार्य ने सर्वसम्मति से इस बात को पारित किया की झारखंड प्राइवेट स्कूल संगठन पिछले 7 वर्षों से निजी विद्यालयों की मजबूती और सुरक्षा के लिए भरपूर प्रयास कर रहा है। झारखंड सरकार वर्तमान सरकार से पहले वाली सरकार ने वर्ष 2019 में निजी विद्यालयों के लिए शिक्षा के अधिकार अधिनियम झारखंड में फेरबदल करते हुए नियमों में छेड़छाड़ की जिसमें छोटे और मंझोले परिवार के बच्चों को पढ़ाने वाले स्कूलों पर कड़े कानून लगा दिए।

उस कानून के तहत सिर्फ बड़े और ब्रांडेड स्कूल ही झारखंड में चल पाएंगे। छोटे और मंझोले स्कूल बंद हो जाएंगे। झारखंड प्राइवेट स्कूल संगठन ने इस नियम का कड़ा विरोध किया और 2019 में ही माननीय उच्च न्यायालय में इसके विरोध में जनहित याचिका दायर की। उच्च न्यायालय ने सुनवाई करते हुए इस नियम पर स्टे लगा दिया और अभी इसकी सुनवाई जारी है। इस नियम के तहत छोटी और मंझोले किस्म के स्कूलों को बंद कर सिर्फ और सिर्फ बड़े-बड़े पूंजी पतियों के स्कूलों को चलाने की योजना थी।

झारखंड प्राइवेट स्कूल संगठन हमेशा से इस अधिनियम का विरोध करता रहा है। स्कूलों के लिए जमीन को दोगुना कर दिया गया और सही तरह के नए नए कानून लगा दिए गए जिससे छोटे और मंझोले किस्म के स्कूल जो गरीब और मध्यम वर्ग के बच्चों को पढ़ाने का काम करते हैं लउन में भय पैदा हो गया अगर यह कानून निरस्त नहीं होता है तो झारखंड की शिक्षा महंगी हो जाएगी। और निजी स्कूलों में पढ़ने वाले गरीब बच्चों और मध्यम वर्ग के परिवार के बच्चों का भविष्य अंधकार में हो जाएगा।

संगठन विधायकों से अपील करता है की आप ऐसे स्कूलों को बचाने के लिए विधानसभा में अपनी बातों को उठाएं और सरकार तक इस बात को पहुंचाने का कष्ट करें। हमारा संगठन चाहता है कि सरकार हमें भी सरकारी स्कूलों की तरह सरकारी सुविधा प्राप्त कराएं क्योंकि सरकार ने हमें यू डाइस दिया है और आठवीं कक्षा तक हम जैक बोर्ड से अपने स्कूल के कोड से बच्चों को परीक्षा दिलवाते हैं और हमारा ट्रांसफर सर्टिफिकेट की मान्यता आठवीं कक्षा तक सरकार देती है। परंतु जब हमारे स्कूल के बच्चे अन्य राज्यों में पढ़ने के लिए अपना नामांकन कराते हैं और जब प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी जिला शिक्षा अधीक्षक की काउंटर साइन की जरूरत पड़ती है तब वे साइन करने से इंकार कर देते हैं ।

सम्मेलन के माध्यम से हम कहना चाहते हैं की जब आठवीं कक्षा तक हमें मान्यता जैसी सुविधा है तो क्यों नहीं हमारे सर्टिफिकेट पर सरकारी पदाधिकारियों का कांटेक्ट साइन हो और हमारे स्कूल के बच्चे भी जब बाहर के राज्यों में पढ़ने जाएं तो उनको पढ़ने की सहूलियत प्राप्त हो‌। उनका नामांकन हो सके हमारे शिक्षकों को भारत सरकार ने प्रशिक्षित कराया है प्रशिक्षण प्राप्त शिक्षक शिक्षिकाएं झारखंड सरकार के शिक्षक बहाली में आवेदन करने समेत आरक्षित कर सरकारी शिक्षक बहाली में बहाल करें। हमारे बच्चों को और शिक्षकों पर सरकार सरकारी बजट की राशि खर्च करें ताकि हमारे शिक्षकों और हमारे विद्यालयों में पढ़ने वाले बच्चों को भी सरकार का सहयोग प्राप्त हो। इस महासम्मेलन में 1500 से अधिक स्कूल प्राचार्य हिस्सा लिया ।

सम्मेलन को सफल बनाने में कोर कमेटी सदस्य और संगठन के संयोजक मधुप मनोहर, सह संयोजक मनोज कुमार राय, वरीय उपाध्यक्ष मकसीर आलम, उपाध्यक्ष छोटे लाल साव, संगठन मंत्री मधुसूदन प्रसाद मेहता, सह सचिव आमिर अल्ताफ, परवेज आलम, कोषाध्यक्ष सोहेल अहमद नूर, मिडिया प्रभारी आरिज हुसैन (सागर), सदर प्रखंड अध्यक्ष राजेश शर्मा बैजनाथ गोप कटकमसांडी अध्यक्ष सूरज देव पांडे, कटकमदाग अध्यक्ष बालेश्वर साव, केरेडारी प्रखंड अध्यक्ष राज कपूर, प्रखंड अध्यक्ष अभिषेक मेहता,पदमा प्रखंड अध्यक्ष राजन कुमार मेहता, बरही प्रखंड अध्यक्ष मिथिलेश यादव, बरकट्ठा प्रखंड अध्यक्ष प्रेम गुप्ता, चौपारण प्रखंड अध्यक्ष सुनील सिंह, प्रखंड अध्यक्ष अमरजीत गुप्ता, दारू प्रखंड अध्यक्ष नंदकिशोर सिंह, चुरचू प्रखंड अध्यक्ष विनय कुमार यादव, टाटीझरिया प्रखंड अध्यक्ष कुंदन सिंह, सभी स्कूल प्राचार्य, प्रखंडों के सचिव उपाध्यक्ष प्रखंड कार्यकारिणी सदस्य हजारीबाग नगर निगम क्षेत्र के अध्यक्ष साजिद रहीम व पुस्तकायन के संचालक राकेश ठाकुर ने सम्मेलन को सफल बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

Related posts

Leave a Comment