राजनीति में जो सामने दिखता है, केवल वही सच नहीं होता। गिरिडीह की राजनीति भी कुछ यही बयां कर रही है। गिरिडीह की सीट भाजपा द्वारा आजसू को दिए जाने के दिन से खफा निवर्तमान भाजपा सांसद रवींद्र पांडेय झामुमो से नजदीकी भी बढ़ा रहे हैं। लेकिन, गिरिडीह-धनबाद के इलाके में संगठनात्मक नफा-नुकसान को समझ रहे झामुमो के सामने एक बड़ा सवाल खड़ा हो गया है कि क्या वह भाजपा के बकरे पर दाव लगाएगा। पांडेय को पार्टी में लाकर झामुमो महतो और मांझी की नाराजगी मोल लेगा। पिछले कई…
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