झारखंड में दलित आदिवासी ,पिछड़ा, अल्पसंख्याक ,कमज़ोर वर्ग को भी दी जाय आरक्षण:रंजीत
गणेश झा
पाकुड़
झारखंड सरकार के द्वारा 1932 का खतियान कैबिनेट के द्वारा जो पारित की गई है यह बहुत खुशी की बात है लेकिन झारखंड में दलित आदिवासी पिछड़ा अल्पसंख्यकों कमजोर वर्गों के लिए अभिलंब आरक्षण लागू करे ताकि तृतीय एवं चतुर्थ वर्ग के नियुक्ति मैं शिक्षित बेरोजगारों को नियुक्ति हो सके तथा स्थानीयता के आधार पर सभी विभागों में रिक्त पदों पर नियुक्ति की जाए यह उन लोगों का हक एवं अधिकार है ।उक्त बातें राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के जिला अध्यछ रंजीत सिंह ने कही । उन्होंने कहा की संथाल परगना काश्तकारी अधिनियम को सरल बनाया जाए ताकि यहां के स्थानीय रैयत की जमीन को ओने पौने दाम मिलती है सरलीकरण करने से रही है तो की जमीन से बैंक से लोन मिलेगी उक्त लोन से लोग अपना व्यवसाय करके जीविकोपार्जन करेंगे तथा रैयत अपने जमीन को अधिक मूल्य में बेच सकेंगे और उनकी दयनीय अवस्था तथा निर्धनता दूर होगी उनके बच्चे उच्च शिक्षा प्राप्त करेंगे देश की प्रगति में साथ देंगे श्री सिंह ने कहा कि 1932 का खतियान कैबिनेट में जो पास हुई है उन्हें अविलंब लागू करवाया जाए तथा 27 परसेंट आरक्षण पिछड़ों के लिए पास हुई है उन्हें भी अविलंब लागू करवाया जाए तथा बेरोजगारों को बेरोजगारी भत्ता अविलंब दिया जाए।