अपनी जायज मांग रोजगार की मांग को लेकर विरोध में उतरे ग्रामीण
गणेश झा
पाकुड़। पचवारा सेंट्रल कोल ब्लॉक से डीबीएल द्वारा ट्रांसपोर्टिंग कर लाई गई कोयला चौथे दिन भी रेलवे साइडिंग पर अनलोड नहीं हो पाई। रेलवे साइडिंग के समीप स्थित लोटामारा गांव के ग्रामीणों ने अपनी स्थानीय जन समस्या और रोजगार की मांग को लेकर कोयले से लदी लोड डंपर को अनलोड करने पर रोक लगा रखी है। चौथे दिन मंगलवार को डीबीएल प्रबंधन के अधिकारी और नगर थाना प्रभारी एवं सार्जेंट मेजर की मौजूदगी में हुई बैठक में ग्राम प्रधान लोटामारा राम टूडू, मुंसी मुर्मू, प्रधान मरांडी सहित दर्जनों लोगों ने प्रबंधन के समक्ष पीने के पानी के लिए बोरिंग, जाहेर स्थान, स्कूल, अस्पताल, बकाया भुगतान, फुटबॉल मैदान सहित अन्य लोडिंग पॉइंट पर रोजगार देने की मांग रखी। मांग पर प्रबंधन ने लिखित समझौता कर काम को चालू करने की बात रखी, लेकिन कुछ ग्रामीण रोजगार देने की मांग पर अड़े रहे। गांव में दो गुट हो जाने के कारण रोजगार में अधिक भागीदारी की दावेदारी पर सहमति न बनने के कारण अंत: वार्ता असफल रही शाम 6 बजे तक वार्ता का दौर चला लेकिन ग्रामीण रोजगार की मांग पर अड़े रहे बैठक में प्रबंधन के द्वारा कहा गया कि हम लोग गांव के लोगों को रोजगार देने के लिए सहमत है लेकिन रोजगार किन्हे किन्हें देना है यह गांव के लोग तय करके दें। इस बात पर ग्रामीणों ने दूसरे दिन का वक्त लेते हुए सहमति जताई। उल्लेखनीय है कि बीते शुक्रवार को कटालडीह स्थित कोल माइंस से दर्जनों डंपर कोयला लोड कर पाकुड़ स्थित लोटामारा रेलवे साइडिंग पर कोयला लेकर आई है। लेकिन स्थानीय ग्रामीणों के विरोध के कारण लोड डंपर से कोयला साइडिंग पर अनलोड नहीं हो पाई है। बैठक में डीबीएल के प्रबंधक वाइस प्रेसिडेंट धनंजय कुमार झा प्रोजेक्ट मैनेजर देवेंद्र झा,जीएम राधा रमन रॉय, पुलिस निरीक्षक सह थाना प्रभारी मनोज कुमार, सार्जेंट मेजर सहित दर्जनों डंफर के मालिक एवं गांव के ग्रामीण मौजूद थे।