लोकसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान के साथ ही पार्टियों ने अपने उम्मीदवारों की सूची जारी करनी शुरू कर दी है. इसी क्रम में ऑल इंडिया तृणमूल कांग्रेस (TMC) ने मंगलवार को आम चुनावों के लिए अपने प्रत्याशियों की लिस्ट जारी की. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी ने कहा कि इस बार पार्टी ने 41 फीसदी टिकट महिला उम्मीदवारों को देने का फैसला किया है. उन्होंने कहा कि यह पार्टी के लिए गर्व का विषय है.
कोलकाता में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में ममता बनर्जी ने बताया कि विभिन्न वजहों के चलते टीएमसी के 5 मौजूदा सांसद इस बार चुनाव मैदान में नहीं उतरेंगे. उन्होंने बताया, ‘जादवपुर के सांसद सुगाता बोस इस लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे क्योंकि हार्वर्ड यूनिवर्सिटी ने इसकी अनुमति देने से इनकार कर दिया है, जहां वह प्रोफेसर हैं. संध्या रॉय भी चुनाव मैदान में नहीं उतरेंगी क्योंकि उनका स्वास्थ्य ठीक नहीं है. जबकि वरिष्ठ नेता सुब्रत बक्शी और उमा सोरेन पार्टी के लिए काम करेंगे.’
ममता बनर्जी ने बताया कि पूर्व अभिनेत्री और बांकुरा से सांसद मुनमुन सेन इस बार आसनसोल से चुनाव लड़ेंगी. पूर्व रेल मंत्री दिनेश त्रिवेदी बैरकपुर से तीसरी बार चुनाव लड़ेंगे. रायगंज से कन्हैयालाल अग्रवाल टीएमसी के उम्मीदवार होंगे. मालदा उत्तर से कांग्रेस की पूर्व सांसद मौसम नूर चुनाव लड़ेंगी. जबकि महुआ मित्रा कृष्णनगर और ममता बाला ठाकुर बनगांव से चुनाव मैदान में होंगी.
इसके अलावा अलीपुरद्वार से दशरथ तिर्की, बालुरघाट से अर्पिता घोषाल, रानाघाट से रूपाली बिश्वास चुनाव मैदान में होंगे. जबकि बांग्ला फिल्मों की स्टार नुसरत और मीमी चक्रवर्ती भी टीएमसी के टिकट पर चुनाव लड़ेंगी.
तृणमूल कांग्रेस पश्चिम बंगाल के अलावा झारखंड, बिहार और असम की कुछ सीटों पर लोकसभा चुनाव लड़ने के साथ ही ओडिशा विधानसभा के लिए 10 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी. ममता बनर्जी ने कहा कि बंगाल की 42 सीटों के अलावा झारखंड में 5, असम में 6, बिहार में 2 लोकसभा सीटों पर पार्टी चुनाव लड़ेगी. टीएमसी ओडिशा विधानसभा के लिए भी 10 सीटों पर चुनाव लड़ेगी. पार्टी ने यूपी, मध्य प्रदेश, राजस्थान, पंजाब में खुद मैदान में न उतर कर क्षेत्रीय पार्टियों को समर्थन देने का फैसला किया है.
लोकसभा चुनाव अभियान की शुरुआत करते हुए ममता बनर्जी ने पीएम नरेंद्र मोदी सरकार पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा कि इस सरकार का आखिरी समय आ गया है. आने वाले समय में देश को ‘लोगों की सरकार’ की जरूरत है. उन्होंने सरकार पर आगामी लोकसभा चुनाव से पहले लोगों को लुभाने के लिए सैन्य कौशल का प्रदर्शन करने और युद्ध का खेल खेलने का आरोप लगाया. ममता ने दावा किया कि विपक्षी पार्टियों द्वारा बनाई जाने वाली नई सरकार आतंकवाद के खिलाफ लड़ेगी और कश्मीर में शांति स्थापित करेगी.