आज ओडिशा के तट से टकराएगा 43 सालों का सबसे भीषण तूफान

News Agency : ओडिशा के पुरी तेज हवाएं और बारिश हो रही है। ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि बंगाल की खाड़ी में उठा भीषण चक्रवाती तूफान फेनी आज सुबह आठ से ten बजे के बीच ओडिशा के पुरी, गोपालपुर व चंदबली के तट से टकराएगा। गुरुवार शाम को यह पुरी से 320 किमी दूर दक्षिण-पश्चिम में स्थित था। तट से टकराते वक्त हवा की रफ्तार a hundred and seventy से a hundred and eighty किमी व अधिकतम two hundred किमी प्रति घंटा रह सकती है। इससे उसकी विकरालता का अंदाजा लगाया जा सकता है।

पिछले forty three सालों में अप्रैल माह में भारत के पड़ोसी समुद्री क्षेत्र में उठा इतनी तीव्रता का यह पहला तूफान है। पीएम नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को हालात से निपटने के लिए विभिन्न विभागों द्वारा की गई तैयारियों की समीक्षा की। ओडिशा के thirteen जिलों में ten हजार से ज्यादा गांवों और fifty two कस्बों पर तूफान कहर बरपा सकता है। इससे eleven.5 लाख से ज्यादा लोग प्रभावित होंगे। इसलिए उन्हें सुरक्षित स्थानों पर भेजा जा रहा है। तीनों सेनाओं व अन्य एजेंसियों को पहले ही अलर्ट किया जा चुका है।

ओडिशा के विशेष राहत आयुक्त दफ्तर के अनुसार मौसम विभाग ने सूचित किया है कि बेहद गंभीर चक्रवाती तूफान शुक्रवार को पुरी के पास समुद्र तट से टकराएगा। यह तेजी से पश्चिम-मध्य बंगाल की खाड़ी में आगे बढ़ रहा है। फेनी का सबसे ज्यादा प्रभाव ओडिशा के अलावा आंध्र प्रदेश के तटीय इलाकों व पश्चिम बंगाल पर पड़ेगा। इनसे जुड़े अन्य राज्यों में तेज हवाएं व भारी बारिश हो सकती है। ओडिशा के करीब three.5 लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजा जा चुका है। हालांकि यह प्रभावित होने वाले eleven.5 लाख लोगों का thirty फीसदी ही है।

फेनी 1999 में आए सुपर साइक्लोन के बाद से सबसे भीषण तूफान है। संयुक्त तूफान चेतावनी केंद्र (जेडब्ल्यूटीसी) के अनुसार तब ओडिशा में करीब ten हजार लोग मारे गए थे और भारी तबाही हुई थी। पीएम नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को उच्च स्तरीय बैठक कर तूफान से निपटने की तैयारियों की समीक्षा की। उन्होंने अफसरों को निर्देश दिया कि वे प्रभावित होने वाले राज्यों के सतत संपर्क में रहें और तत्काल मदद मुहैया कराएं। बैठक में कैबिनेट सचिव, पीएम के प्रमुख सचिव, पीएम के अतिरिक्त प्रमुख सचिव, गृह सचिव व मौसम विभाग, एनडीआरएफ, एनडीएमए व पीएमओ के वरिष्ठ अफसर मौजूद थे।

हालात से निपटने के लिए तीनों राज्यों में राष्ट्रीय आपदा राहत बल (एनडीआरएफ) की eighty one टीमों को तैनात कर दिया गया है। इनमें 4000 से ज्यादा जवान हैं। एनडीआरएफ के महानिदेशक एसएन प्रधान ने बताया कि करीब fifty टीमें ओडिशा, आंध्र व बंगाल के तटीय इलाकों में पहले से तैनात कर दी गई हैं। thirty one अन्य टीमों को तैयार रखा गया है। चूंकि तूफान पुरी के तट से टकराएगा, इसलिए वहां सर्वाधिक twenty eight टीमें तैनात की गई हैं। आंध्र में twelve और बंगाल में छह टीमें तैनात की गई हैं। नागरिक विमानन मंत्री सुरेश प्रभु ने सभी तटीय इलाकों के एयरपोर्ट अथॉरिटी को अलर्ट कर दिया है। उन्होंने कहा कि हालात से निपटने के लिए सारी तैयारियां चाक-चौबंद कर ली जाएं। उन्होंने सभी एयरलाइनों से भी आग्रह किया कि वे राहत व बचाव कार्यो में मदद करें।

राहत सामग्री को एयर लिफ्ट कर प्रभावित क्षेत्रों में अधिकृत एजेंसियों तक पहुंचाएं। सस्ती विमानन कंपनी इंडिगो ने a pair of मई को विशाखापत्तनम की उड़ानें निरस्त कर दीं। कंपनी ने यात्रियों से उसकी वेबसाइट पर नजर रखने की सलाह दी है। विस्तारा एयरलाइन ने तूफान के कारण भुवनेश्वर व कोलकाता की चेंज व कैंसलेशन फीस a pair of से five मई तक माफ कर दी है। तीन से चार मई के बीच भुवनेश्वर और कोलकाता एयरपोर्ट से भी सभी उड़ानें रद कर दी गई है। इस दौरान कोई विमान यहां लैंड भी नहीं करेगा। रेलवे ने बताया कि कोलकाता-चेन्नई रूट पर ओडिशा और आंध्र प्रदेश के तटवर्ती क्षेत्रों से गुजरने वाली ट्रेनों समेत कुल 223 ट्रेनों को रद कर दिया गया है।

इनमें नई दिल्ली-भुवनेश्वर राजधानी, पुरी-नई दिल्ली पुरुषोत्तम एक्सप्रेस भी शामिल है। शुक्रवार को भी ये ट्रेनें नहीं चलेंगी। जबकि प्रभावित क्षेत्रों में फंसे पर्यटकों को निकालने के लिए तीन विशेष ट्रेनें चलाई जाएंगी। रेलवे ने कहा है कि वह निरस्त या डायवर्ट ट्रेनों के किराए का पूरा रिफंड करेगा, बशर्ते यात्रा दिनांक के तीन दिन में टिकट निरस्त करने के लिए पेश किए जाएंगे। बांग्लादेश ने भी फेनी से बचाव के लिए तटवर्ती nineteen जिलों से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने का आदेश दिया है। आपदा प्रबंधन मंत्रालय के वरिष्ठ सचिव शाह कमाल ने बताया कि nineteen जिलों के प्रशासन को शुक्रवार की सुबह से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजने को कहा गया है। सैन्य बलों को भी अलर्ट पर रखा गया है।

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